sarkari yojana:अंतर्जातीय विवाह करने पर 2.5 लाख रुपये मिलेंगे
सामाजिक एकीकरण को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार ने “डॉ. बीआर अंबेडकर योजना – अंतर्जातीय विवाह के माध्यम से सामाजिक एकता के लिए” नामक एक योजना चलाई है जिसके अंतर्गत जो कोई अंतर्जातीय विवाह करता है और जोड़े में दूल्हा या दुल्हन में से कोई एक भी दलित जाती का है तो ऐसे विवाहित कपल को केंद्र सरकार की तरफ से 2.5 लाख रूपये की राशि दी जाएगी । यह योजना सभी के लिए खोली गयी है इस योजना का मुख्या उद्देश्य सामाजिक एकीकरण को बढ़ावा देना है । केंद्र सरकार अब सजातीय विवाह ख़त्म करके सामाजिक एकीकरण को बढ़ावा देने के लिए अंतर्जातीय विवाह को बढ़ावा दे रही है ।
अंतर्जातीय विवाह योजना क्या है –
यह एक ऐसी योजना है जो की अनुसूचित जाति / अल्पसंख्यक और पिछड़े वर्ग के जोड़ों को आर्थिक रूप से मदद करने के इरादे से भारत सरकार द्वारा चलाई जा रही योजना है इस योजना के अंतर्गत शादी करने वाले जोड़े में एक इंसान दलित वर्ग का होता है तभी इस योजना का लाभ लिया जा सकता है ऐसा विवाह जिसमे एक पक्षकार दलित वर्ग का होना ही चाहिए । तभी ऐसे जोड़े को इस योजना के अंतर्गत माना जायेगा और उनको इस योजना के तहत 2.5 लाख रुपये दिए जायेंगे । यह एक सरकारी योजना है जो भारत सरकार द्वारा 2023 में शुरू की गयी है ।
इस योजना के अंतर्गत प्रमुख बाते –
- इस योजना का मुख्य उद्देश्य सामाजिक सद्भावना को बढ़ावा देना है
- इस योजना के तहत शादी करने वाले जोड़े की यह पहली शादी हो
- शादी हिन्दू विवाह के अंतर्गत पंजीकृत हो और शादी के 1 साल के भीतर ऐसी योजना के लिए अप्लाई करना
- इस योजना के तहत अब आय सीमा को हटा दिया गया है
- ऐसे विवाह में जो दलित होगा उसको 2.5 लाख रुपये दिए जायेंगे
अंतर्जातीय विवाह करने के फायदे –
- एक दूसरे के जाति के बारे में जानना और एक दूसरे की परंपरा को अपनाना
- ऐसे विवाह जो बालिगों द्वारा किया जा रहा है सरकार भी उनकी सहायता करती है
- ये जो हमारे समाज में जातिवाद फैला हुआ है इसका हमेशा के लिए नाश हो जायेगा
- अंतर्जातीय विवाह से आनुवंशिक रोगो के भी काम हो जाने के चान्सेस होते है
- अंतर्जातीय विवाह स्वेच्छा से किया हुआ होता है तो जीवन भर खुशिया बानी रहती है
अंतर्जातीय विवाह योजना के लिए आवश्यक दस्तावेज
आधार कार्ड
जाति प्रमाण पत्र
बैंक अकाउंट पासबुक
मोबाइल नंबर
पासपोर्ट साइज फोटो
आयु प्रमाण पत्र
कोर्ट मैरिज का प्रमाण पत्र
अंतर्जातीय विवाह में चुनौतियां और समाधान –
अंतर्जातीय विवाह करना करना इतना भी आसान नहीं होता है जितना हम सोच लेते है बहुत समस्याओ का सामना हमें करना पड़ता है जैसे –
- सामाजिक दबाव : समाज में हर जगह दबाव बनाया जाता है अपनी ही जाति में शादी करने के लिए , ऐसे समाज में रहते हुए हम अंतर्जातीय विवाह करना तो दूर सोचना भी मुश्किल होता है
- लोगो की सोच: हर मामले की तरह इस मामले में भी सबसे पहले यही ख्याल आता है की लोग क्या सोचेंगे और इस सोच की वजह से हर कोई अंतर्जातीय विवाह करने से डरता है ।।
- घर की इज्जत: समाज के खिलाफ जाकर कोई भी शादी करने से पहले घर की इज्जत का ख्याल आजाता है जिस बहुत लोग ऐसा नहीं कर पाते
- अन्य भाई बहनो के भविष्य की टेंशन : घर का कोई भी व्यक्ति अगर अंतर्जातीय विवाह कर रहा है तो उसके इस कदम का असर उसके घर में रहने वाले उसके भाई बहनो के भविष्य पर भी पड़ सकता है ।
समाधान :इस प्रकार एक अंतर्जातीय विवाह करना आसान नहीं होता है परन्तु हम इसका समाधान चाहे तो एहि हो सकता है की हमें लोगो को जागरूक करने की जरूरत है इस तरह की शादियों के फायदे के बारे में उनको बताना होगा . जब लोग जागरूक होंगे तो अंतर्जातीय विवाह में आने वाली साड़ी चुनोतियो को ख़त्म किया जा सकता है
आधुनिक दृष्टिकोण: हम आज के बच्चो की बात करे तो वर्तमान में लोग इस टॉपिक पर जागरूक होने लगे है और युवाओ को ये भी समझ आज्ञा है की अंतर्जातीय विवाह करने के बहुत फायदे होते है कई परिवारों में बिना किसी रोक टोक के अंतर्जातीय विवाह संपन्न होने लगे है जहा लोग शिक्षित है वह अंतर्जातीय विवाह को अपना लिया गया है इसके अलावा बड़े बड़े शहरों में अंतर्जातीय विवाह एक नार्मल बात बन गयी है , परन्तु आज भी कई एरिया ऐसे भी है जहा अंतर्जातीय विवाह के बारे में सोचना भी गुनाह होता है ।
निष्कर्ष : जैसे जैसे समाज विकसित हो रहा है अंतर्जातीय विवाह एक नार्मल बात हो गयी है फिर भी आज भी कई जगह ऐसी भी है जहा बहुत चुनोतियो का सामना करना पड़ता है इसके लिए लोगो को जागरूक करना होगा तभी इसका सही तरीके से समाधान निकल पायेगा । इस सरकारी योजना का मुख्य उद्देश्य ही यही है की सामाजिक भेदभाव को ख़त्म कर दिया जाये और भारत में ये जातिप्रथा बिलकुल बंद हो जाये ।